गोर्खाली समाज में बेटियों के लिए खास होता है बड़ा दशैं (विजयदशमी),पहला टीका जवाई के साथ बेटी को। देखिए वीडियो

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आज ऋषिकेश के ग्रामीण क्षेत्रों में गोर्खाली समाज में विजय दशमी को बड़े हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। सुबह से ही गोरखाली समाज के लोगों में अपने बड़े बुजुर्गों के हाथों टीका लगवाने के लिए उनके यहां आने जाने बड़ी संख्या देखी गई। गोर्खाली समाज में दशहरे पर्व की धूम पांच दिन तक चलता है। बुजुर्ग छोटों को पूरे माथे पर चावल व दही का टीका लगाते हैं। साथ ही कानों पर खुशहाली की प्रतीक हरियाली रखी जाती है।

विजयदशमी को गोरखाली बोली में बड़ा दशें कहा जाता है तथा उनके सुख समृद्धि अच्छे स्वास्थ्य और खुशहाली की कामना की जाती है। आज विजयदशमी के दिन गोरखाली समाज के लोगों में टीका ग्रहण कर अपने बड़े बुजुर्गों से आशीर्वाद लिया।

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चित्रवीर क्षेत्री बताते है गोरखा समाज में बेटियों का दशहरे के दिन मुख्य भूमिका होती है। शादी के बाद पहला दशहरा में अपने पति के साथ बेटियों का टीका किया जाता है। उसके बाद ही अन्य सदस्यों को टीका किया जाता है।

पंडित अच्युत जोशी ने बताया कि विजयदशमी का त्यौहार अपनी संस्कृति सामाजिक एकता व प्राचीन काल से चली आ रही परंपराओं को संजोए रखने का संदेश देती है।

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