उत्तराखण्ड में क्षेत्रफल के आधार पर हो परिसीमन

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ऋषिकेश: उत्तराखंड राज्य निर्माण सेनानियों की एक आवश्यक बैठक नगर निगम परिसर ऋषिकेश स्वर्गीय इंद्रमणि बडोनी हाल में आहट की गई बैठक में पिछली बैठक में प्रस्ताव की पुष्टि की गई। बैठक में कई बिंदुओं पर विस्तार से चर्चा हुई।

जिसमें मुख्य रूप से यूसीसी लिविंग रिलेशनशिप कृपया सरकार इस पर जो खामियां हैं उनको दूर करते हुए पुनर्विचार करें तथा मूल निवास को प्राथमिकता पर रखा जाए ताकि मूल निवासियों का हक ना मारा जाए। इसके अलावा आगामी 2026 में उत्तराखंड में जो परिसीमन होना है। वह क्षेत्रफल के आधार पर करवाया जाए परिसीमन पर विशेष जोर देते हुए वक्ताओं ने कहा कि उत्तराखंड की भौगोलिक स्थिति अन्य राज्यों से बिल्कुल भिन्न है उत्तराखंड की सीमाएं नेपाल चीन से जुड़ी हुई है जिनका भविष्य में प्रदेश को खामियाजा उठाना पड़ सकता है। इसलिए परिसीमन क्षेत्रफल के आधार पर होना चाहिए वक्ताओं ने बैठक में राज्य आंदोलनकारी के चिन्हीकरण जो की काफी लंबे समय से बंद पड़ा हुआ है तत्काल प्रभाव से चिह्नीकरण करवाया जाए तथा एक समान पेंशन एवं राज्य निर्माण सेनानी का दर्जा भी दिया जाए।

उक्त मौके पर युद्धवीर सिंह चौहान, डी एस गुसाईं, गंभीर सिंह मेवाड़, विक्रम भंडारी, बेताल सिंह धनाई, गुलाब सिंह रावत, बृजेश डोभाल, विशंभर दत्त डोभाल, प्रवेश सकलानी, धर्म सिंह रावत, हरि सिंह नेगी, राजेंद्र कोठारी, रामेश्वरी चौहान, कुसुम लता शर्मा, शकुंतला नेगी, सुशीला पोखरियाल, उर्मिला डबराल, जयंती नेगी, प्रेम नेगी, चैता कंडवाल, रोशनी खरोला, मुन्नी ध्यान, पुणे राणा, जय डोभाल, अंजू गैरोला, शोभा बिजवान, रेखा धस्माना, भगवती चमोली सहित सैकड़ो लोग मौजूद थे। बैठक की अध्यक्षता युद्धवीर सिंह चौहान तथा संचालन डी एस गुसाईं ने किया।

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