उत्तराखंड में धूम्रपान छोड़ो अभियान शुरू युवाओं में जागरूकता बढ़ी
देहरादून : उत्तराखंड सरकार ने स्वास्थ्य क्षेत्र में एक अहम पहल करते हुए राज्यव्यापी ‘धूम्रपान छोड़ो अभियान’ शुरू किया है। अभियान का मुख्य उद्देश्य युवाओं और छात्रों को धूम्रपान और तंबाकू के गंभीर स्वास्थ्य जोखिमों के प्रति सचेत करना है।
अभियान के तहत राज्यभर के स्कूल, कॉलेज और पब्लिक प्लेस पर विशेष कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। इन कार्यक्रमों में कैंसर, हृदय रोग, फेफड़ों की गंभीर बीमारियों और तंबाकू सेवन से होने वाले नुकसान की जानकारी दी जा रही है।मुख्य कार्यक्रम राजधानी देहरादून में आयोजित किया गया, जिसमें छात्र, युवा और स्थानीय नागरिकों ने भाग लिया। स्वास्थ्य विभाग की वरिष्ठ अधिकारी डॉ. कविता रावत ने बताया,“धूम्रपान और तंबाकू का सेवन युवाओं में तेजी से बढ़ रहा है। हमारा उद्देश्य है कि वे इसके खतरों को समझें और स्वस्थ जीवनशैली अपनाएं।”
कार्यक्रम में छात्रों ने बैनर, पोस्टर और स्लोगन के माध्यम से जागरूकता फैलाने में सक्रिय भागीदारी दिखाई। कई युवाओं ने सार्वजनिक रूप से यह संकल्प लिया कि वे धूम्रपान और तंबाकू से दूरी बनाएंगे।
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार, उत्तराखंड में धूम्रपान से संबंधित बीमारियों की संख्या लगातार बढ़ रही है। इसके परिणामस्वरूप कैंसर, हृदय रोग और फेफड़ों की गंभीर बीमारियां आम हो रही हैं। इसी को देखते हुए सरकार ने अभियान में विशेष हेल्पलाइन, हेल्थ वर्कशॉप और जागरूकता कैंप शामिल किए हैं। राज्य के विभिन्न जिलों में इस अभियान के तहत स्वस्थ जीवन प्रतियोगिता, नाट्य प्रस्तुतियां और स्लोगन प्रतियोगिताएं भी आयोजित की जा रही हैं। स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि यह पहल सिर्फ जागरूकता तक सीमित नहीं रहनी चाहिए। इसके लिए काउंसलिंग, हेल्पलाइन और सपोर्ट ग्रुप की सुविधा भी नियमित रूप से उपलब्ध कराई जा रही है।
अभियान का उद्देश्य है कि युवाओं में तंबाकू और धूम्रपान से दूरी का स्थायी प्रभाव बने और वे स्वस्थ जीवनशैली अपनाएं। सरकार का यह कदम खासकर ग्रामीण और आदिवासी क्षेत्रों के युवाओं के लिए भी प्रभावी साबित होगा।
